नई दिल्ली। राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने अवॉर्ड वापस करनेवाले साहित्यकारों और फिल्मकारों को नसीहत दी। प्रणब ने कहा है कि देश में होने वाली घटनाओं पर बहस होनी चाहिए, अवॉर्ड वापसी नहीं।
राष्ट्रपति ने अवॉर्ड वापस करनेवालों को नसीहत देते हुए कहा है कि मतभेद को दूर करने के लिए चर्चा करें। खुद को मिले अवॉर्ड का सम्मान करें और उसे संजोकर रखें। उन्होंने कहा कि अवॉर्ड किसी को उसके कार्य को देखते हुए सम्मान के तौर पर दिया जाता है। ऐसे में उसका आनंद उठाना चाहिए। राष्ट्रपति ने कहा कि कभी कभी समाज में घट रही घटनाओं को लेकर संवेदनशील लोगों को परेशानी होती है।
प्रणब ने कहा भावना में बहकर तर्क को नहीं छोड़ना चाहिए बल्कि असहमति को बहस के जरिए दिखाना ज्यादा बेहतर तरीका होता है।
पूर्व सेना प्रमुख वीके सिंह का विवादों से चोली-दामन का साथ रहा है। अक्सर वह अपने विवादित बयानों को लेकर विपक्ष के निशाने पर रहते हैं। एक बार फिर उन्होंने ऐसा ही बयान देकर हंगामे को हवा दे दी है। देश में असहनशीलता को लेकर छिड़ी बहस पर केंद्रीय मंत्री वीके सिंह ने अमेरिका में कहा कि कुछ लोगों ने बिहार चुनाव से पहले बहुत सारे पैसे लेकर इस काल्पनिक मुद्दे को हवा दी।
अमेरिका में एक कार्यक्रम के दौरान वीके सिंह ने कहा कि देश में पैसे लेकर कुछ लोगों ने असहिष्णुता का मुद्दा खड़ा किया। वीके सिंह ने कहा कि बिहार चुनाव से पहले जानबूझकर कुछ लोगों ने राजनीति से प्रेरित होकर असहिष्णुता का मुद्दा उठाया।
वीके सिंह ने कहा कि भारत में असहिष्णुता पर बहस कुछ लोगों के कल्पनाशील दिमाग की अनावाश्यक रचना है, जिसके लिए उन्हें ढेर सारा पैसा दिया गया। ये सब बिहार चुनाव से पहले राजनीति से प्रेरित होकर किया गया।
वीके सिंह ने आगे कहा कि असहिष्णुता का मुद्दा सिर्फ बिहार चुनाव के लिए खड़ा किया राजनीतिक एजेंडा है। बिहार का चुनाव खत्म हो गया तो सब कुछ खत्म हो गया। उन्होंने कहा कि जब दिल्ली में चुनाव हो रहे थे, तब भी एक चर्च में हुई मामूली सी चोरी का मुद्दा बनाया गया और मीडिया ने भी इसे जोरशोर से दिखाया।