नई दिल्ली। संसद के शीतकालीन सत्र से पहले रणनीति तैयार करने का दौर शुरू हो गया है। कांग्रेस कार्यकारिणी समिति की मौजूदा राजनीतिक हालात पर चर्चा के लिए बुलाई गई बैठक में कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने केंद्र की मोदी सरकार को आड़े हाथों लिया और कहा कि सरकार सत्ता के नशे में चूर हो गई है।
तबीयत खराब होने के चलते कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी इस बैठक में हिस्सा नहीं ले रही हैं। उनकी जगह राहुल गांधी ने बैठक की अध्यक्षता की। ये बैठक उस वक़्त हो रही है जब राहुल गांधी ओरोपों को लेकर सड़क पर उतर आए हैं। आरके ग्रेवाल के परिजनों के साथ हुई बदसलूकी पर राहुल के तीखे तेवर से कांग्रेस कार्यकर्ताओं में एक नया उत्साह है।
कार्यकारिणी समिति की इस बैठक में मनमोहन सिंह, ऐके एंटनी, अहमद पटेल, दिग्विजय सिंह, मलिका अर्जुन खड़गे, अंबिका सोनी, बीके हरिप्रसाद और ग़ुलाम नबी आज़ाद समेत लगभग 21 सदस्य हिस्सा ले रहे हैं। बैठक में राहुल गांधी ने केंद्र सरकार पर कुछ इस तरह हमले किए।
उन्होंने कहा, मोदी सरकार को सत्ता का नशा चढ़ गया है, क्योंकि असहमति रखने वालों को चुप किया जाता है। आम नागरिकों को राष्ट्रीय सुरक्षा की आड़ में सवाल पूछने के लिए धमकाया जा रहा है। टीवी चैनलों को बंद करवाया जा रहा है। लोकतंत्र काले दौर से गुजर रहा है। देश में अभिव्यक्ति का अधिकार छीना जा रहा है। हम इसका आने वाले संसद के सत्र में विरोध करेंगे। दलितों और आदिवासियों पर अत्याचार जारी है।
उन्होंने कहा कि सरकार ने जम्मू कश्मीर और पाकिस्तान के मुद्दे पर सभी हदें पार कर दी गई हैं, क्योंकि दशकों बाद इतनी मौतें हुई हैं। भाजपा जाति और धर्म के आधार पर चुनाव लड़ती है।
कार्यकारिणी समिति के सदस्यों को भेजे गए एजेंडा के मुताबिक कमेटी मौजूदा सियासी हालात पर प्रस्ताव पारित करेगी। कांग्रेस जो प्रस्ताव पारित करेगी उसमें सबसे अहम भारत-पाक सीमा पर तनाव, पाकिस्तान की नापाक कोशिशों और शहीद हुए जवानों के प्रति श्रद्धांजलि का जिक्र होगा। साथ ही मोदी सरकार की पाक को काबू में रखने कि नाकामी के मुद्दे को उठाया जाएगा। बैठक में 5 राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव पर भी चर्चा होने की संभावना है।
कांग्रेस कार्यकारिणी की बैठक में सर्वसम्मति से संगठन के चुनावों को एक साल के लिए टालने पर भी रजामंदी दी जाएगी। यानी सोनिया गांधी एक साल और कांग्रेस अध्यक्ष बनी रहेंगी। चर्चा ज़ोरों पर है कि राहुल के क़रीबी नेता राहुल गांधी को अध्यक्ष या ‘वर्किंग प्रेजिडेंट’ बनाने कि बात रख सकते हैं हालांकि इस पर कोई औपचारिक जानकारी नहीं है।