ओपिनियन पोस्ट
नई दिल्ली। दिल्ली में एमसीडी चुनाव की तारीखों का ऐलान हो गया है। 22 अप्रैल को मतदान होगा और 25 अप्रैल को मतगणना होगी। उधर, मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने अपनी सरकार के मुख्य सचिव को निर्देश दिए हैं कि ईवीएम की जगह बैलेट पेपर से एमसीडी चुनाव कराएं। दिल्ली के मुख्यमंत्री ने कहा कि पोलिटिकल पार्टियों की मांग है कि नगर निगम चुनाव EVM की जगह बैलट पेपर से कराए जाएं इसलिये आज शाम तक इसके लिए जो भी औपचारिकताएं हैं वो पूरी की जाएं और निगम चुनाव बैलट पेपर से कराये जाएं। ‘ अब देखना होगा कि मुख्यमंत्री के आदेश का कितना पालन होता है।
तारीख का ऐलान होते ही अचार संहिता लागू हो गई है। नोटिफीकेशन 27 मार्च को होगा और 3 अप्रैल को नॉमिनेशन की अंतिम तारीख होगी। 8 अप्रैल नॉमिनेशन वापस लेने की तारीख है। 25 को मतगणना होगी। उम्मीदवारों को चुनाव में 5 लाख 75 हजार रुपए खर्च करने की सीमा है। 42 वार्ड उत्तर, 45 वार्ड दक्षिण, 27 वार्ड पूर्वी नगर निगम के महिलाओं के लिए आरक्षित होंगे। 1 करोड़ 32 लाख वोटर हैं। 14 हजार पोलिंग स्टेशन हैं। एक हजार पोलिंग स्टेशन पिछली बार से ज्यादा है। Evm मशीन पर उम्मीदवारों के फोटो भी लगे होंगे. EVM मशीन की पहले चरण की जांच हो चुकी है।
बता दें कि दिल्ली सरकार ही एमसीडी चुनाव कराती है। अब यह देखना होगा कि दिल्ली सरकार के इस आदेश पर दिल्ली के उपराज्यपाल अनिल बैजल क्या रुख अपनाते हैं। हालाँकि राज्य चुनाव आयोग ने स्पष्ट किया है कि एमसीडी के लिए वोटिंग इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीनों के जरिए ही होगी।
एमसीडी चुनावों में मुख्य तौर पर बीजेपी और कांग्रेस में मुकाबला होता आया है लेकिन इस बार अरविंद केजरीवाल की आम आदमी पार्टी के चुनाव मैदान में आने से मुकाबला त्रिकोणीय हो गया है। वहीं AAP से अलग हुए योगेंद्र यादव की पार्टी स्वराज इंडिया ने भी एमसीडी चुनाव लड़ने का ऐलान किया है। इनके अलावा बीएसपी और जेडीयू भी चुनाव मैदान में होंगी। बीजेपी ने ऐलान किया है कि वह एमसीडी चुनावों में किसी भी मौजूदा पार्षद को टिकट नहीं देगी। पार्टी ने साथ ही यह तय किया है कि पार्षदों के किसी रिश्तेदार को भी टिकट नहीं मिलेगा।